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Kalo Chatelo Resham Ko || कालो चटेलो रेशम को

 

Kalo Chatelo Resham Ko || कालो चटेलो रेशम को

जय गौर हरि


तेरी कमर परयौ लहराय,तेरो कारो री चुटीलो रेशम को।
तेरा चमचम चमके चोला है
तू तो बनी गजब का गोला है
तू तो ठाड़ी है,ठाड़ी ही मुसकाय...तेरो कारो रे
तेरे माथे की बिंदिया जुलम करे
तोपे काहू छैला की नजर परै
तू तो बिन मारे मर जाये...तेरो कारो री चुटीलो
तू तो चाल चले मतवारी है
तेरी हिलती जाय पिछारी है
तू तो मणिधर की पुंजाय... तेरो कारो री चुटीलो
तोतै कहै वृंदावन वारो है
कछू लै लै पुण्य हमारो है
गोरी हंस हंस गले लगाय...तेरो कारो री चुटीलो
तेरी कमर परयौ लहराय तेरो कारो री चुटीलो रेशम को।

 

स्वर: परम् वैश्नव अंजुना जी

 

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